Monday, February 27, 2012

मीका को भिजवाऊंगी कालापानी: राखी सावंत

पिछले सप्ताह बॉलीवुड की बिंदास और बोल्ड हीरोइन राखी सावंत अपने अजीज मित्र के विवाह समारोह में भाग लेने दिल्ली आईं। समारोह में देश के कई नामी-गिरामी सांसद, मंत्री, सामाजिक कार्यकर्ता और साधु-संत भी आमंत्रित थे। वर-वधू को आशीर्वाद देने पहुंचने वालों में योग गुरु रामदेव, गांधीवादी समाज सेवी अन्ना हजारे और प्रसिद्ध गायक मीका भी थे। इस अवसर पर अशोक मिश्र ने फाल्गुन महीने के मद्देनजर राखी सावंत से कुछ महत्वपूर्ण मुद्दों पर बातचीत की। पेश हैं बातचीत के कुछ प्रमुख अंश।

आपकी नजर में देश की प्रमुख समस्या क्या है? गरीबी, बेकारी, भुखमरी या फिर कुछ और?
-(मादक अंगड़ाई लेती हुई) मेरी नजर में सबसे प्रमुख समस्या है हमारे युवाओं में बढ़ती नपुंसकता। देश में जिधर भी नजर डालती हूं, मुझे एकाध छोड़कर कोई मर्द नजर नहीं आता है। इसका प्रमाण अगर आपको चाहिए, तो आप दैनिक अखबारों में छपने वाले विज्ञापनों को ही ले सकते हैं। इन विज्ञापनों को देखकर आपको भी लगता होगा कि कहीं पूरा देश ही नपुंसक तो नहीं हो गया है! आप ही बताइए, दुनिया के किसी और देश के अखबारों में क्या ऐसे विज्ञापन छपते हैं और वह भी इतनी मात्रा में? मैं तो दुनिया के लगभग हर देश में गई हूं। वहां के अखबारों और इलेक्ट्रॉनिक चैनलों को देखा है, इक्का-दुक्का को छोड़कर अन्य अखबारों में इन विज्ञापनों की इतनी भरमार नहीं होती है।
आपकी नजर में वे एकाध मर्द कौन हैं? उनके नाम का खुलासा करेंगी?
-देखिए, इस बात को मैं ‘आफ द रिकार्ड’ तो बता सकती हूं, लेकिन ‘आन द रिकार्ड’ बताना मेरे लिए संभव नहीं है। इस देश के पहले मर्द तो अन्ना हजारे हैं, दूसरे अपने योग गुरु हैं, तीसरे इमरान हाशमी हैं। (पाठकों, आपके लिए भी यह ‘आफ द रिकार्ड’ ही है।)
अगर आपको देश का सांस्कृतिक राजदूत तय करने का अधिकार दे दिया जाए, तो आप किसे मौका देंगी?
-इस मामले में मैं थोड़ी उदार हूं। सांस्कृतिक राजदूत किसी एक की जगह महाद्वीपीय आधार पर मैं यह नियुक्ति करूंगी। अब जैसे संयुक्त राष्ट्र के लिए सनी लियोन से बेहतर कोई हो ही नहीं सकता है। अफ्रीकी देशों के लिए बहन मल्लिका शहरावत ठीक रहेंगी। यूरोपीय देशों की सांस्कृतिक राजदूत एशियाई मूल की वीना मलिक को बनाकर देखिए, इन देशों की जनसंख्या विस्फोट जैसी समस्या चुटकी बजाते ही हल होती है या नहीं। एक ‘खास’ संस्कृति का प्रचार-प्रसार इतनी तेजी से होगा कि लोगों को कुछ सोचने और करने का मौका ही नहीं मिलेगा। वैश्विक सांस्कृतिक राजदूत का पद मैं अपने पास ही रखना चाहूंगी। इसके लिए मुझे अपने से बेहतर कोई दूसरा नहीं दिखता है। (थोड़ी देर बाद) अरे मैं तो पूनम पांडे को तो भूल ही गई। पूनम पांडे को मैं हर विदेशी दौरे पर भारतीय क्रिकेट टीम के साथ भेजूंगी ताकि टीम का मनोबल बना रहे।
अगर आपको किसी दो को काले पानी भेजने को कहा जाए, तो आप यह सौभाग्य किसे प्रदान करेंगी?
-फर्स्ट आफ आल तो मैं पंजाबी गायक मीका को कालापानी भिजवाऊंगी। दूसरी हैं मलाइका अरोड़ा खान।
इन दोनों पर यह कृपा क्यों?
-(शर्माने की कोशिश करती हुईं) पहली बात तो यह है कि मीका को ठीक से ‘चुम्मा’ लेना नहीं आता है। उस बेवकूफ ने एक बार मेरा चुंबन लिया था। दो दिन तक मेरे होंठ सूजे रहे। अरे! उस नालायक को पहले से प्रैक्टिस करके मेरे पास आना चाहिए था। मलाइका अरोड़ा खान से मेरी पुरानी अदावत है। वह मेरे आइटम सांग पर गिद्ध जैसी नजर रखती है। अब देखिए न! फिल्म ‘दबंग’ में बदनाम मुझे होना था और बदनाम हो गई वह। अच्छा आप ही बताइए, यह मेरे साथ नाइंसाफी है या नहीं।
मीका की बात छोड़िए, लेकिन मलाइका अरोड़ा खान के छोटे-छोटे बच्चे हैं। अगर उन्हें कालेपानी भेज दिया गया, तो उनके बच्चों का क्या होगा? इस बारे में कुछ सोचा है?
-मैं हूं न! मैं दूंगी उन बच्चों को मां का प्यार। उन्हें पूरी जिंदगी मां की कमी नहीं खलेगी।
और उसके पति को?
-जब मेरी सेकेंड हैंड गाड़ियों में कोई रुचि नहीं है, तो फिर पति के मामले में मैं सेकेंड हैंड कैसे चूज कर सकती हूं। कुंवारे के नाम पर तो मैं स्वामी रामदेव को भी स्वीकार कर सकती हूं। चलिए छोड़िए इस मुद्दे को। कोई और बात करते हैं फिल्मी दुनिया से इतर। राजनीतिक सवाल करें। यह मेरा प्रिय विषय रहा है।
थोड़ी देर के लिए अगर यह मान लिया जाए कि किसी ऐसे द्वीप के अस्तित्व का पता चले जिस पर किसी भी देश का अधिकार न हो और वहां का राष्ट्राध्यक्ष आपको बना दिया जाए, तो किस गीत को वहां के राष्ट्रगीत का दर्जा देंगी?
-एक बहुत पुराना गाना है ‘लौंडा बदनाम हुआ नसीबन तेरे लिए।’ इसी गीत को बचपन से सुन-सुनकर मैं जवान हुई थी। मेरी मम्मी बताती हैं कि यह गीत जब कहीं गाया या ग्रामोफोन पर बजता सुनाई देता था, तो मैं नाचने लगती थी। बड़ी होने पर मैं इस गीत को किसी कार्यक्रम में पेश करके बुजुर्गों को झूमने पर मजबूर कर देना चाहती थी। इस देश में ‘लो ब्लड प्रेशर’ के जितने भी वृद्ध पुरुष मरीज हैं, उनके सामने अगर यह गाना पेश कर देती, तो उनका रोग एक ही लटके-झटके में हमेशा के लिए दूर हो जाता। लेकिन अफसोस ऐसा नहीं हो पाया। इससे पहले इस गीत की पैरोडी गाकर मलाइका अरोड़ा खान ने महफिल लूट ली। अब वह ऐसे मरीजों का इलाज कर रही है, लेकिन उसमें भी वह बात नहीं है, जो मेरे गाने में होता!
इस बार होली आप किसके साथ मनाने जा रही हैं?
-एवरग्रीन देवानंद साहब के साथ इस बार होली मनाने का प्रोग्राम फिक्स था, लेकिन बेचारे जन्नतनशीं हो गए। ले-देकर अब मीका ही बचा है। उसी को इस बार रंग-गुलाल लगाऊंगी।
युवाओं को होली पर कोई संदेश देना चाहती हैं?
-हां, वे होली को खूब मस्ती के साथ मनाएं। अपनी रोजमर्रा की दिक्कतों को ताख पर रखकर खूब पिएं, जितना वे पिएंगे, सरकार को उतना ही राजस्व मिलेगा। उसी राजस्व से देश का विकास होगा। हमें देश के विकास में अपना योगदान देने से पीछे नहीं हटना चाहिए। युवाओं के लिए बस यही एक संदेश है।

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